सहकारी समितियों को लाभ में लाने पर सहकारिता मंत्री का विशेष फोकस, तीन सदस्यीय कमेटी गठित, टिहरी, पौड़ी के जिला सहकारी समिति की 25 अगस्त देने होगी रिपोर्ट
जीटी रिपोर्टर, देहरादून
सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने टिहरी और पौड़ी गढ़वाल के जिला सहकारी बैंक और सहकारी समितियों की समीक्षा की। घाटे में चल रही सहकारी समितियों और बैंकों के कामकाज की जानकारी लेते हुए व्यवसाय बढ़ाने के निर्देश दिए। समितियों के कामकाज की पड़ताल को तीन सदस्यीय समिति का गठन किया। समिति को 25 अगस्त तक रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए।
विधानसभा में समीक्षा बैठक में सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने समिति में जिला सहकारी बैंक अध्यक्ष, महाप्रबंधक व सहायक निबंधक सहकारिता को शामिल करने के निर्देश दिए। जिन समितियों के पास अपने भवन नहीं हैं, वार्षिक व्यवसाय एक करोड़ से कम है, सदस्यता संख्या 500 किसानों से कम है, समितियों में आंकिक एवं सचिव तक तैनात नहीं हैं, इस पर रिपोर्ट मांगी गई है। इनके समायोजन या बंद करने संबंधी प्रस्ताव मांगे गये हैं।
कहा कि जिला स्तर पर जो सहकारी समितियां घाटे में चल रही हैं, उन्हें या तो नजदीकी समितियों के साथ समायोजित किया जाए। ऐसा न होने पर उन्हें घाटे से उबारा जाए। घाटे में चल रहे सहकारी बैंकों की शाखाओं को भी लाभ में लाने के निर्देश दिए। कहा कि समिति जिले में ब्लॉकवार भ्रमण कर घाटे में चल रही सहकारी समितियों के समायोजन एवं नई बैंक शाखाओं के लिए प्रस्ताव 25 अगस्त तक निबंधक सहकारिता को प्रस्तुत करेंगे। पौड़ी में तीन सदस्यीय समिति के साथ उत्तराखंड सहाकारी संघ के उपाध्यक्ष मातबर सिंह रावत एवं उत्तराखंड सहकारी रेशम संघ के उपाध्यक्ष दयाल सिंह चौहान भी मौजूद रहेंगे। बैठक में निबंधक सहकारिता बीएम मिश्रा, अपर निबंधक ईरा उप्रेती, प्रभारी उप निबंधक मान सिंह सैनी, अध्यक्ष जिला सहकारी बैक कोटद्वार नरेंद्र सिंह रावत, अध्यक्ष जिला सहकारी बैक टिहरी सुभाष रमोला, महाप्रबंधक मनोज कुमार, पीपी सिंह आदि मौजूद रहे।