सचिवालय संघ से लेकर उक्रांद ने ईगास पर सार्वजनिक अवकाश घोषित करने की मांग
देहरादून।
दिवाली से ठीक 11 दिन बाद मनाए जाने वाले उत्तराखंडी लोकपर्व ईगास पर सार्वजनिक अवकाश घोषित किए जाने की मांग कई संगठनों ने की। उत्तराखंड सचिवालय संघ ने मुख्य सचिव ओमप्रकाश को पत्र भेज कर ईगास पर्व का सार्वजनिक अवकाश घोषित किये जाने की मांग की। महासचिव राकेश जोशी ने कहा कि उत्तराखंड में ईगास पर्व का बहुत बड़ा महत्व है। ये उत्तराखंड का बड़ा लोकपर्व है। दीवाली के ठीक 11 दिन बाद इस पर्व को पूरे उत्तराखंड में मनाया जाता है। ऐसे में 25 नवंबर को मनाए जाने इस पर्व पर सार्वजनिक अवकाश घोषित करें। उत्तराखंड क्रान्ति दल ने भी पर्वतीय लोक पर्व इगास पर सार्वजनिक अवकाश घोषित किए जाने की मांग की। केंद्रीय प्रवक्ता सुनील ध्यानी ने कहा कि करें। इगास लोक पर्व दीपावली के ग्यारह दिन के बाद आता है। इसका अपना एक ऐतिहासिक महत्व है। इस ऐतिहासिक पर्व से जुड़ी लोगों की अपनी लोक संस्कृति से जुड़ी आस्था है। पर्वतीय क्षेत्र में पशुओं की पूजा से लेकर तथा वीर शिरोमणि माधोसिंह भंडारी की गाथाएं इस पर्व से जुड़ी हैं। राज्य गठन के 20 वर्षो में अन्य राज्यों के लोक त्योहारों को उत्तराखंड की सरकारें वोट बैंक समझ कर मनाती आईं हैं। चाहे वो छठ पूजा से जुड़ा त्योहार हो या अन्य कोई और। लेकिन इगास जैसे त्योहार पर सरकार केवल औपचारिकता करती आयी है। कहा कि उक्रांद का मानना है कि उत्तराखंड के लोकपर्वो को सरकार महत्व देते हुये लोक पर्व इगास पर सार्वजनिक अवकाश घोषित किया जाए।