बृजभूषण गैरोला को यूसीएफ अध्यक्ष पद से हटाया, मनोनित निदेशक के जरिए बने थे राज्य सहकारी संघ के अध्यक्ष, सरकार ने धारा 34 के तहत सभी मनोनित निदेशकों को हटाया
देहरादून।
राज्य सहकारी बैंक के अध्यक्ष बृजभूषण गैरोला को राज्य सहकारी संघ के अध्यक्ष पद से हटा दिया गया है। वे संघ में सरकार की ओर से निदेशक पद पर मनोनित हुए थे। उसी के बाद उनका अध्यक्ष पद पर चयन हुआ। सरकार ने कुल छह निदेशकों को हटा दिया है।
राज्य सहकारी संघ सहकारिता की शीर्ष संस्था है। इसके अध्यक्ष के पद को सहकारिता का सर्वोच्च पद माना जाता है। सहकारिता के सेक्टर में राज्य सहकारी संघ की सबसे अहम भूमिका रहती है। सरकार ने धारा 34 के तहत राज्य सहकारी संघ, राज्य सहकारी बैंक, आवास संघ, रेशम फैडरेशन में कुल छह निदेशक मनोनित किए थे। राज्य सहकारी संघ में मनोनित निदेशक बृजभूषण गैरोला को ही अध्यक्ष बनाया गया था। ऐसे में मनोनित निदेशक पद से हटते ही वे अध्यक्ष पद से भी हट गए हैं।
गैरोला को पूर्व सीएम त्रिवेंद्र रावत का बेहद करीबी माना जाता है। ऐसे में इस फैसले को भी त्रिवेंद्र रावत के लिए एक और झटका माना जा रहा है। जिस तरह नई सरकार एक के बाद एक पुरानी सरकार के फैसलों को पलट रही है, उसी कड़ी में इस फैसले को भी जोड़कर देखा जा रहा है। अध्यक्ष पद से बृजभूषण गैरोला के हटने से अब कार्यवाहक व्यवस्था के तहत उपाध्यक्ष मातवर सिंह रावत के पास जिम्मा रहेगा। अपर निबंधक ईला उप्रेती ने आदेश की पुष्टि की।
नये अध्यक्ष के लिए बिछेगी बिसात
राज्य सहकारी संघ के अध्यक्ष पद के लिए अब नये सिरे से बिसात बिछेगी। अंदरखाने इस पद के लिए उपाध्यक्ष मातवर सिंह रावत की दावेदारी को सबसे अहम माना जा रहा है। हालांकि बदले राजनीतिक हालात में ऊंट किसी भी करवट बैठ सकता है। बोर्ड में मौजूद कई और निदेशकों की नजर भी अध्यक्ष पद की कुर्सी पर है।