सहकारिता के करोड़ों के बकाएदारों को छोड़ेंगे नहीं, किसान, गरीबों को नहीं करेगा कोई परेशान, सहकारिता मंत्री के दो टूक निर्देश, 20 लाख से ऊपर के बकाएदारों ने दस मार्च के बाद भी भुगतान न किया, तो सीधे कानूनी कार्रवाई, 20 बड़े बकाएदारों से 76 करोड़ की हुई वसली, मार्च तक वसूला जाए 60 फीसदी, ऋण वसूली में टिहरी अव्वल 

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सहकारिता के करोड़ों के बकाएदारों को छोड़ेंगे नहीं, किसान, गरीबों को नहीं करेगा कोई परेशान, सहकारिता मंत्री के दो टूक निर्देश, 20 लाख से ऊपर के बकाएदारों ने दस मार्च के बाद भी भुगतान न किया, तो सीधे कानूनी कार्रवाई, 20 बड़े बकाएदारों से 76 करोड़ की हुई वसली, मार्च तक वसूला जाए 60 फीसदी, ऋण वसूली में टिहरी अव्वल

देहरादून।

सहकारिता के करोड़ों के बकाएदारों को अब नहीं छोड़ा जाएगा। लेकिन किसान, गरीबों को कोई परेशान नहीं करेगा। सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने टूक निर्देश देते हुए कहा कि 20 लाख से ऊपर के बकाएदारों ने दस मार्च के बाद भी भुगतान न किया, तो सीधे कानूनी कार्रवाई की जाए। बताया कि 20 बड़े बकाएदारों से 76 करोड़ की वसूली हुई। मार्च तक 60 फीसदी एनपीए वसूला जाए। सहकारी बैंकों, सहकारी समितियां किसान और गरीबों के खिलाफ ऋण वसूली अभियान नहीं चलाएंगी। लेकिन 20 लाख से अधिक के बड़े बकाएदारों को किसी भी सूरत में रियायत नहीं दी जाएगी। अभी 20 बड़े बकाएदारों से 76 करोड़ की वसूली हो चुकी है। मार्च तक हर हाल में 60 फीसदी वसूली करनी होगी। सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने सख्ती के साथ बड़े बकाएदारों से वसूली के निर्देश।
विधानसभा में हुई समीक्षा बैठक में सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने कहा कि ऋण वसूली अभियान में गरीबों और किसानों को राहत दी जाएगी। साफ किया कि यह अभियान किसी किसान के खिलाफ नहीं है, बल्कि बड़े 20 बकायादारों के विरूद्ध है। जिन्होंने 50 लाख से अधिक का ऋण लेकर अपना खाता एनपीए कर दिया है। 10 बकायादारों ने 10 मार्च तक बैंकों में बकाया ऋण जमा करने पर सहमति जताई है। अभियान में किसी किसान को परेशान नहीं किया जाएगा। बल्कि ऐसे ग्राहकों के वसूली की जाएगी, जिन्होंने बड़ी रकम लेकर किस्त जमा नहीं की है। यदि इन्होंने 10 मार्च तक अपना बकाया जमा नहीं किया तो इनके खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई होगी।
राज्य सहकारी बैंक के चेयरमैन दान सिंह रावत ने कहा कि पूर्व में जारी ऋणों में ग्राहकों ने जरूरी दस्तावेज जमा नहीं कराए। ऐसे मामलों में पहले कागजी प्रक्रिया पूरी की जाए। ताकि एनपीए वसूली संबंधी प्रक्रिया में कोई दिक्कत न आए। बैठक में निबंधक सहकारिता बीएम मिश्र, डीसीबी अध्यक्ष टिहरी सुभाष रमोला, देहरादून अमित शाह, उत्तरकाशी विक्रम सिंह रावत, हरिद्वार प्रदीप चैधरी, जीएम दीपक कुमार, एनपीएस ढाका, केएस बिष्ट, एजीएम राहुल गैरोला मौजूद रहे।

टिहरी जिला सहकारी बैंक ऋण वसूली में अव्वल
ऋण वसूली में जिला सहकारी बैंक टिहरी ने सभी बैंकों को पछाड़ दिया है। सबसे अधिक 27 फीसदी की वसूली टिहरी ने करते हुए 20 करोड़ रुपये वसूले हैं। महा प्रबंधक एनपीएस ढ़ाका ने बैठक में बताया कि जिला सहकारी बैंकों के वसूली अभियान में जिला सहकारी बैंक टिहरी ने सर्वाधिक ऋण वसूली की। इस पर मंत्री धन सिंह रावत ने डीसीबी अध्यक्ष सुभाष रमोला की पीठ भी थपथपाई।

कंपनियों का भुगतान का आश्वासन
बैठक में हिमालय फूड पार्क प्राइवेट लिमिटेड के एमडी अश्विनी छाबड़ा ने बताया कि वह अपना बकाया ऋण दे देंगे। जीएम केएस बिष्ट ने बताया कि आठ करोड़ रूपये जमा किए, तो इनका खाता एनपीए से बाहर आ जाएगा। रचियता इन्फ्रा प्राइवेट लिमिटेड के मुरारी लाल शाह के प्रतिनिधि ने बताया कि उन पर ढ़ाई करोड़ रूपये बकाया है, इसे जल्द जमा कर दिया जाएगा।

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