जल जीवन मिशन का काम सिंचाई विभाग को देने पर भड़के इंजीनियर, प्रमोशन में देरी और 4800 ग्रेड पे का लाभ न देने पर भी नाराज, प्रदेश स्तर पर गेट मीटिंग कर जताई नाराजगी
देहरादून।
जल निगम डिप्लोमा इंजीनियर्स संघ ने जल जीवन मिशन का काम सिंचाई विभाग को सौंपे जाने का विरोध किया। महासचिव अजय बेलवाल ने कहा कि एक्ट से बाहर जाकर सिंचाई को जल जीवन मिशन का काम दे दिया गया है। इससे भविष्य में पेयजल सेक्टर के भविष्य पर संकट खड़ा हो सकता है। उन्होंने तत्काल इस व्यवस्था को समाप्त किए जाने की मांग की। संघ ने प्रमोशन में देरी, 4800 ग्रेड पे, एसीपी का लाभ न देने पर विरोध जताया। सभी जिलों में इंजीनियरों ने गेट मीटिंग कर मैनेजमेंट की भूमिका पर सवाल उठाए।
हर जिले में जल निगम कार्यालय में इंजीनियर जुटे। देहरादून परेड ग्राउंड संघ भवन में गेट मीटिंग के दौरान महासचिव अजय बेलवाल ने कहा कि प्रमोशन के पर्याप्त पद होने के बावजूद इंजीनियरों को लाभ नहीं दिया जा रहा है। इससे इंजीनियरों में आक्रोश व्याप्त है। कहा कि इंजीनियरों के किसी संवर्ग में प्रमोशन नहीं हो रहे हैं। लापरवाही का आलम ये है कि अभी तक वरिष्ठता सूची भी फाइनल नहीं की जा रही है। राज्य गठन के 20 साल और इंजीनियरों की नियुक्ति के 15 साल बाद भी यदि वरिष्ठता सूची फाइनल नहीं हो रही है, तो इस पर प्रबंधन से लेकर शासन तक की भूमिका पर सवाल उठते हैं।
जिलाध्यक्ष मातवर सिंह बिष्ट ने कहा कि पूरे जल निगम को प्रभारी व्यवस्था के भरोसे छोड़ रखा है। एमडी से लेकर नीचे स्तर तक प्रभारी व्यवस्था चली आ रही है। वरिष्ठ उपाध्यक्ष अरविंद सिंह सजवाण ने कहा कि डिप्लोमा इंजीनियरों की 4800 ग्रेड पे का तत्काल लाभ दिया जाए। एसीपी से जुड़ी सभी सुविधाएं दी जाएं। गेट मीटिंग में महासचिव अजय बेलवाल, जिलाध्यक्ष मातवर सिंह बिष्ट, वरिष्ठ उपाध्यक्ष अरविंद सजवाण, जेबी शर्मा, प्रमोद चंद्र कोठियाल, राजेंद्र सिंह राणा, विजेंद्र पेटवाल, टीएस भंडारी, अमर सिंह, सुभाष कोटनाला, विक्रम राणा, बालम नेगी, पवन कुमार, भजन सिंह, कुलदीप कुमार आदि मौजूद रहे।