पुरानी पेंशन बहाली आंदोलन हुआ तेज, कर्मचारियों ने सोशल मीडिया पर ब्लैक की स्क्रीन

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पुरानी पेंशन बहाली आंदोलन हुआ तेज, कर्मचारियों ने सोशल मीडिया पर ब्लैक की स्क्रीन, काले झंडे लहरा कर मनाया काला दिवस

देहरादून।

पुरानी पेंशन बहाली आंदोलन तेजी पकड़ता जा रहा है। पुरानी पेंशन के समर्थन में कर्मचारियों ने सोशल मीडिया पर स्क्रीन काली रखने के साथ ही काले झंडे भी लहराते हुए काला दिवस मनाया। राष्ट्रीय पुरानी पेंशन बहाली संयुक्त मोर्चा से जुड़े कर्मचारियों ने अपने अपने विभागों, संस्थानों में एकजुट होकर पुरानी पेंशन बहाली की मांग की। कर्मचारियों ने न्यू पेंशन स्कीम का विरोध किया। कर्मचारियों ने अपने कार्यालयों में काली पट्टी व काला मास्क लगाकर विरोध जताया। सभी कर्मचारियों ने अपने सोशल मीडिया पर अपनी तस्वीर काली रखी। एक साथ 80 हजार कर्मचारियों ने रात आठ से 9 बजे तक अपने घरों की लाइट भी बन्द रखी।
प्रदेश अध्यक्ष अनिल बडोनी ने कहा कि सरकार ने अक्टूबर 2005 से पुरानी पेंशन का लाभ देना बंद कर दिया है। इसका देश भर में कर्मचारी विरोध कर रहे हैं। इस लड़ाई को पूरी मजबूती के साथ लड़ा जाएगा। प्रदेश महासचिव सीताराम पोखरियाल ने कहा कि अभी कर्मचारी शांतिपूर्वक आंदोलन कर रहे हैं। यदि जल्द मांग पूरी नहीं होती, तो आंदोलन को तेज किया जाएगा। कहा कि केंद्र और राज्य सरकार ने ऐतिहासिक निर्णय लिए हैं। ऐसे में पुरानी पेंशन बहाली भी, कर्मचारियों के जीवन से जुड़ा एक ऐतिहासिक निर्णय साबित होगा।
विरोध जताने वालों में जयदीप रावत , जसपाल रावत ,नरेश भट्ट, भवान सिंह नेगी, मेहरबान भंडारी, सौरभ नौटियाल, दिलवर रावत, प्रदीप जुयाल, निर्मला थापा, कविता कोटनाला, राजपाल बिष्ट, देवेंद्र बिष्ट, प्रवीण भट्ट, योगिता पंत , लक्ष्मण रावत, कपिल पांडे, राजीव कुमार, रेनु डांगला, सुबोध कांडपाल, राजेन्द्र शर्मा, भास्करानंद, दया जोशी, त्रिभुवन बिष्ट, इंदुवर जोशी, प्रकाश चौबे, माधव नौटियाल, जितेन्द्र बिष्ट, मुरली मनोहर भट्ट, गुरुदेव रावत, एन के सैनी आदि मौजूद रहे।

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